ऑटो मोड ( ऑटो, प्रोग्राम): ऑटो मोड जिसे प्रोग्राम मोड भी कहा जाता है इस मोड में कैमरा का सॉफ्टवेयर यह निर्धारित करता है की फोटो खींचते वक्त कैमरा का aperture, shutter speed और ISO वैल्यू कितना होगा, जब हम इस मोड़ पर फोटोग्राफी करते हैं तो हम संपूर्ण प्रकार से कैमरा के सॉफ्टवेयर पर निर्भर रहते हैं , यहां मोड खासकर के वो लोग इस्तेमाल करते हैं जिन्होंने अभी अभी फोटोग्राफी शुरू की है यह फोटोग्राफी सीख रहे हैं। पॉइंट एंड शूट कैमरा अथवा मोबाइल फोन के कैमरा अधिकतर ऑटो मोड में ही काम करते हैं।
सेमी ऑटो(एपर्चर प्राथमिकता और शटर प्राथमिकता) मोड: जैसे कि आपको नाम से ही पता चल रहा होगा यह ऑटो मोड और मैनुअल मोड के बीच वाली मोड़ है, इस मोड में फोटोग्राफर अपनी इच्छा अनुसार एपर्चर साइज या शटर स्पीड को कंट्रोल कर सकता है। सेमी ऑटो मोड के दो भाग होते हैं एक एपर्चर प्राथमिकता मोड जिसमें फोटोग्राफर एपर्चर की साइज को खुद निर्धारित करता है और कैमरा का सॉफ्टवेयर शटर स्पीड और ISO को निर्धारित करता है उसी प्रकार से शटर प्राथमिकता मोड में फोटोग्राफर शटर स्पीड को निर्धारित करता है और कैमरा एपर्चर साइज और ISO को करता है। यह मोड फोटोग्राफर विभिन्न प्रकार के परिवेश को ध्यान में रखकर चुनते हैं, इस मोड को प्रोफेशनल फोटोग्राफर या आरंभकर्ता फोटोग्राफी दोनों इस्तेमाल करते हैं।
मैनुअल मोड: इस मोड में Aperture, Shutter स्पीड और ISO को फोटोग्राफर अपने हिसाब से निर्धारित करते है, इस मोड में कैमरा का संपूर्ण नियंत्रण फोटोग्राफर के पास होता है और वह अपनी इच्छा अनुसार इन तीनों तत्व को नियंत्रित करते हुए फोटोग्राफी करता है, यह मोड अधिकतर प्रोफेशनल फोटोग्राफर पसंद करते हैं क्योंकि उन्हें इस मोड के माध्यम से अपने रचनात्मक कला को प्रस्तुत करने का अवसर मिलता है, इस मोड को इस्तेमाल करने से पहले आपको एक्स्पोज़र ट्रायंगल के बारे में पता होना चाहिए।